नई दिल्ली. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह सोमवार को लोकसभा में जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल 2019 पेश करेंगे। इससे पहले संसद में राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा होगी। जम्मू-कश्मीर आरक्षण संशोधन विधेयक को फरवरी में कैबिनेट और राष्ट्रपति से मंजूरी मिल चुकी है। कैबिनेट मंत्री बनने के बाद शाह अपना पहला बिल पेश करेंगे। इसके आलवा आधार और अन्य कानून (संशोधन) बिल भी रखे जाएंगे।
लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर चर्चा के लिए 10 घंटे का समय तय किया गया है। इसके अलावा जम्मू-कश्मीर में अनुच्छेद 356 को जारी रखने के प्रस्ताव पर तीन घंटे बहस होगी। इससे पहले मोदी सरकार ने शुक्रवार को दूसरे कार्यकाल में तीन तलाक को लेकर नया बिल पेश किया था। अब इस पर चर्चा होनी है। हालांकि, विपक्ष पहले ही इसका विरोध कर चुकी है।
जम्मू-कश्मीर के हर वर्ग को आरक्षण का लाभ मिलेगा
शाह के द्वारा पेश किए जाने वाले बिल के तहत जम्मू-कश्मीर आरक्षण अधिनियम 2004 में संशोधन किया जाएगा। बिल के पास होने से अंतरराष्ट्रीय सीमा के पास रहने वाले लोगों को भी आरक्षण का लाभ मिल सकेगा। आरक्षण नियम में संशोधन कहता है कि कोई भी व्यक्ति जो पिछड़े क्षेत्रों, नियंत्रण रेखा (एलओसी) और अंतराष्ट्रीय सीमा (आईबी) से सुरक्षा कारणों से चला गया हो उसे भी आरक्षण का फायदा मिल सकेगा।