बच्चों की मौत का मामला : विधानसभा में एईएस पर भारी हंगामा, सीएम का जवाब- बीमारी रोकने की ठोस योजना बनेगी

0
90

पटना. एईएस (एक्यूट इंसेफ्लाइटिस सिंड्रोम) से हो रही बच्चों की मौत के मसले पर एकजुट विपक्ष ने सोमवार को विधानमंडल के दोनों सदनों में खासा हंगामा किया। विपक्ष की मांग पर 8 साल बाद विधानसभा में कार्यस्थगन प्रस्ताव मंजूर हुआ। 2010 में उत्पाद मंत्री जमशेद अशरफ के इस्तीफा प्रकरण पर कार्यस्थगन प्रस्ताव मंजूर हुआ था। पहली पाली के सारे तय काम को रोककर बच्चों की मौत पर चर्चा हुई। विपक्ष ने केंद्र व राज्य सरकार को कठघरे में खड़ा किया, उससे इस्तीफा मांगा।

विधानपरिषद में भी इसी मसले पर कार्यस्थगन आया था। यह नामंजूर हुआ। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि प्रभावित इलाके में हो रहे सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण के नतीजों के आधार पर इस बीमारी को रोकने के लिए ठोस कार्ययोजना बनेगी। बीमारी के कारणों पर विशेषज्ञों की अलग-अलग राय है। जागरूकता से बच्चों की जान बचेगी। वहीं, स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय का दावा रहा कि हर हाल में इस बीमारी को नियंत्रित किया जाएगा।

पीड़ित परिवारों के सामाजिक-आर्थिक सर्वे के बाद बनेगा एक्शन प्लान

दोनों सदनों की कार्यवाही शुरू होते ही विपक्षी सदस्यों ने हंगामा व नारेबाजी शुरू कर दी। विधानसभा अध्यक्ष विजय कुमार चौधरी ने अंतत: विपक्ष के कार्यस्थगन प्रस्ताव को मंजूर किया। बहस शुरू हुई। इस क्रम में हस्तक्षेप करते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि बच्चों की जान बचाने के लिए जागरूकता बढ़ाकर इसे नियंत्रित करने की कोशिश की जा रही है। बीमारी के कारण के बारे में कोई भी एकमत नहीं है। कोई कहता है कि इसका संबंध सरयू नदी से है। किसी को लीची से समस्या दिखती है। मैंने इस मामले में ठोस नतीजे तक पहुंचने के लिए विशेषज्ञों की एक संयुक्त कमेटी बनाने की आवश्यकता जताई थी ताकि विशेषज्ञ कमेटी की राय के आधार पर कार्रवाई हो सके। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने बीमारी का कारण जानने के लिए टीम गठित की है। उसकी रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की जाएगी।

सदन की मुख्य बातें

  • पहली पाली के सारे तय काम को रोककर बच्चों को मारने वाली इसी बीमारी पर हुई चर्चा
  • विपक्ष ने केंद्र-राज्य सरकार को कठघरे में खड़ा किया, इस्तीफा मांगा
  • मुख्यमंत्री ने कहा-इस बीमारी के कारणों पर विशेषज्ञों की अलग-अलग राय, जागरूकता से बचेगी बच्चों की जान
  • यह तहकीकात भी होगी कि प्रभावित लोग सरकारी योजनाओं का लाभ क्यों नहीं ले पाए?
  • स्वास्थ्य मंत्री का दावा-इस बीमारी को नियंत्रित करेंगे
  • विधानपरिषद में कार्यस्थगन नामंजूर, यहां भी खूब हुआ हंगामा

सीएम बोले-अधिकतर पीड़ित गरीब परिवार के, इनमें लड़कियां ज्यादा 
सीएम बोले-एसकेएमसीएच में एईएस के पीड़ितों और उनके परिजनों से मिलने पर पता चला कि अधिकांश प्रभावित लोग गरीब परिवार के हैं और उनमें भी लड़कियों की संख्या अधिक हैं। इसके बाद एईएस प्रभावित इलाकों में सामाजिक-आर्थिक सर्वेक्षण कराने का निर्णय लिया।

सिद्दीकी का निशाना-बच्चों की मौत शासन का आपराधिक कृत्य

बिहार, पूरे देश में शर्मसार हुआ। बच्चों की मौत, शासन का आपराधिक कृत्य है। मुख्यमंत्री भी जिम्मेवार हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने संसद में शर्म व्यक्त किया। उनका आभार। स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय भाजपा संगठन चलाते रहे। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री हर्षवर्द्धन अपनी ही घोषणाओं पर अमल नहीं करा पाए।-अब्दुल बारी सिद्दीकी, राजद

 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here