बॉलीवुड डेस्क. सोनम कपूर ने 8 मई 2018 को दिल्ली बेस्ड बिजनेसमैन आनंद आहूजा से लव मैरिज की थी। शादी के करीब 14 महीने बाद एक इंटरव्यू में उन्होंने बताया कि कैसे उनकी आनंद से पहली मुलाकात हुई थी और कैसे उनकी प्रेम कहानी आगे बढ़ी। उनकी मानें तो शुरुआत में आनंद बिचौलिया बन कर अपने बेस्ट फ्रेंड से उनकी बात कराने की कोशिश कर रहे थे और वो उनके साथ ऐसे पेश आती थीं, जैसे उनकी स्कूल टीचर हों।
दोस्त आनंद के बेस्ट फ्रेंड के साथ करा रहे थे सेटिंग
- सोनम कहती हैं, “मेरे दोस्त मुझे आनंद के बेस्ट फ्रेंड के साथ सेट कराना चाहते थे। इसी दौरान मेरी और उनकी (आनंद) मुलाकात हुई। पहली बार मैं आनंद से तब मिली, जब प्रेम रतन धन पायो (2015) के प्रमोशन में व्यस्त थी। एक शाम मेरे दोस्त मुझे ताज होटल के बार में ले गए। मैं वहां इरिटेट हो रही थी। क्योंकि जब वहां पहुंची तो पता चला कि मेरे दोस्तों ने इन दो-तीन लड़कों को भी बुलाया था, जिनसे मिलने में मेरी कोई दिलचस्पी नहीं थी।”
सोनम ने कहा था- मुझे शादी में विश्वास नहीं
सोनम ने आगे बताया, “मेरा कहना था कि मैं किसी को डेट नहीं करना चाहती। मैं शादी और इस तरह की बकवास में विश्वास नहीं करती। मैंने आनंद और उनके बेस्ट फ्रेंड को देखा। उनके दोस्त मेरी ही तरह लंबे थे। मेरी तरह ही उन्हें किताब पढ़ने का शौक था और हिंदी फिल्में पसंद थीं। वो एक पढ़े-लिखे और अच्छे इंसान थे। लेकिन वो मुझे मेरे भाई हर्ष की याद दिला रहे थे। मैंने कहा- यारो वो हर्ष है। मैं उस आदमी को डेट नहीं कर सकती।”
‘किसी ने नहीं सोचा था- मैं और आनंद साथ आएंगे’
सोनम आगे कहती हैं, “कभी-कभी लोगों को लगता है कि अगर उनके विचार मिलते हैं तो वो साथ आ सकते हैं। किसी ने नहीं सोचा था कि मैं और आनंद साथ आएंगे। क्योंकि हम एक-दूसरे से बिल्कुल अलग हैं। उन्हें इस बात का अंदाजा नहीं था कि अनिल कपूर मेरे पापा हैं। मैं पूरी शाम आनंद से बात करती रही। आनंद बिचौलिए की तरह मेरी बात उनके दोस्त से कराने की कोशिश कर रहे थे। लेकिन हमारे बीच बातचीत ज्यादा हुई।”
जब आनंद ने रात 2.30 बजे भेजा मैसेज
सोनम की मानें तो आनंद ने जब उन्हें पहली बार मैसेज किया तो रात के 2.30 बज रहे थे। वो कहती हैं, “एक दिन मेरे पास आनंद की फेसबुक फ्रेंड रिक्वेस्ट आई, जिसके साथ मैसेज था, ‘क्या तुम अब भी सिंगल हो? क्योंकि कोई और भी सिंगल है। अगर तुम लंदन में हो तो प्लीज उससे बात कर लो।’ यह मैसेज रात में 2.30 बजे आया। मैंने उन्हें रिप्लाई किया- तुम्हे मुझे देर रात मैसेज नहीं भेजना चाहिए।”
स्कूल टीचर की तरह पेश आ रही थीं सोनम
बकौल सोनम, “मैं एक स्कूल टीचर की तरह पेश आ रही थी। लिखा, ‘मुझे देर रात मैसेज न करें और अगर आपके दोस्त को दिलचस्पी है तो उन्हें खुद मुझे मैसेज करना चाहिए। तुम क्यों क्यों कर रहे हो?’ इस तरह हमारी बातचीत शुरू हुई। फिर फोन पर हमने बात करना शुरू किया। दो सप्ताह बाद मैंने उनसे पूछा कि क्या अब भी वो अपने दोस्त से मेरी बात कराना चाहते हैं? तो उन्होंने कहा- नहीं-नहीं, कभी नहीं। मैं तुम्हे अपने लिए बचाता हूं।”